दशमूलारिष्ट : महिलाओं की ताकत का खजाना

दशमूलारिष्ट : महिलाओं की ताकत का खजाना 

हैल्लो दोस्तों कैसे हैं आप सब लोग /आशा करता हूँ कि सब लोग अच्छे से होंगे /
    आप सब की सेवा में जो पोस्ट शेयर कर रहा हूँ /आप लोगो को कैसी लगती हैं /आप के मन मेंआने वाले विचारों से अवगत कराने में कंजूसी न बरतें /क्योंकि आपके अनमोल विचार मेरे कार्य को सुधारने में सहयोग करेंगे /इसलिए आप लोगो से निवेदन है की ज्यादा से ज्यादा कमेंट करें और हमारे ब्लॉग को सब्सक्राइब करें /
   आज मैं आप लोगो को एक आयुर्वेदिक औषधि दशमूलारिष्ट के बारे में विचार कहने जा रहा हूँ /यह औषधि
महिलाओं के लिए ताकत प्रदान करने वाली औषधि है /

सभी दस जड़ों का मिश्रण 2 किलो, चित्रक छाल 1 किलो, पुष्कर मूल 1 किलो, लोध्र और गिलोय 750-750ग्राम, आंवला 750  ग्राम, जवासा 500 ग्राम, खैर की छाल या कत्था, विजयसार और गुठलीरहित बड़ी हरड़- तीनों 400 400 ग्राम/ कूठ, मजीठ, देवदारु, वायविडंग, मुलहठी, भारंगी, कबीटफल का गूदा, बहेड़ा, पुनर्नवा की जड़, चव्य, जटामासी, फूल प्रियंगु, सारिवा, काला जीरा, निशोथ, रेणुका बीज  , रास्ना, पिप्पली, सुपारी, कचूर, हल्दी, सोया पद्म काठ, नागकेसर, नागरमोथा, इन्द्र जौ, काक़ड़ासिंगी, विदारीकंद, शतावरी, असगन्ध और वराहीकन्द, सब 75-75 ग्राम। मुनक्का ढाई किलो, शहद सवा किलो, गुड़ 21 किलो, धाय के फूल सवा किलो/ शीतलचीनी, सुगंधबाला या खस, सफेद चंदन, जायफल, लौंग, दालचीनी, इलायची, तेजपात, पीपल, नागकेसर प्रत्येक 78-78 ग्राम और कस्तूरी 4 ग्राम/

बनाने की विधि 

दशमूल से लेकर वराहीकन्द तक की औषधियों को मात्रा के अनुसार वजन में लेकर मोटा-मोटा जौकुट करके मिला लें और जितना सबका वजन हो, उससे आठ गुने पानी में डालकर उबालें/ चौथाई जल बचे तब उतार लें/ मुनक्का अलग से चौगुने अर्थात 10 लीटर पानी में डालकर उबालें/जब सा़ढ़े सात लीटर पानी शेष बचे, तब उतार लें/

अब दोनों काढ़ों (औषधि और मुनक्का) को मिलाकर इसमें शहद और गुड़ डालकर मिला लें/ अब धाय के फूल से लेकर नागकेसर तक की 11 दवाओं को खूब महीन पीसकर काढ़े के मिश्रण में डाल दें/इस मिश्रण को मिट्टी या लकड़ी की बड़ी कोठी में भरकर मुंह पर ढक्कन लगाकर कपड़मिट्टी से ढक्कन बंद कर 40 दिन तक रखा रहने दे/40 दिन बाद खोलकर छान लें और कस्तूरी पीसकर इसमें डाल दें। कस्तूरी न भी डालें तो हर्ज नहीं है। अब इसे बोतलों में भर दें/दशमूलारिष्ट तैयार है/यह फॉर्मूला लगभग 35 से 40 लीटर दशमूलारिष्ट तैयार करने का है/कम मात्रा में बनाने के लिए सभी घटक द्रव्यों और जल की मात्रा को उचित अनुपात में घटा लेना चाहिए/

पहला ;महिलाओं की कमजोरी से निपटे
महिलाओं की कई तरह की परेशानियों में से एक ये भी है कि इन्हें कमजोरी की समस्या भी होती है. विशेषरूप से प्रसव की कमजोरी से उबरने के लिए दशमूलारिष्ट एक काफी उपयोगी और प्रभावी दवा है. महिलाओं में समग्र कमजोरी और थकान से लड़ने में मदद करता है.
दूसरा ;पुनः युवा बनाए रखने में मददगार
दशमूलारिष्ट कई बीमारियों का प्राभावी इलाज होने के साथ ही कई अन्य फायदे भी उपलब्ध कराता है. क्योंकि ये आपको पुनः युवा बनाए रखने में भी काफी महत्वपूर्ण होता है. ये बढ़ते हुए उम्र के प्रभावों को कम करता है.
तीसरा ; शरीर की मजबूती के लिए
इसका उपयोग शरीर की मजबूती के लिए भी किया जाता है. ये हमारे शरीर के मानसिक और शारीरिक मजबूती के लिए भी काफी उपयोगी है. इस आधार पर कहा जा सकता है कि शारीरिक रूप से कमजोर लोगों के लिए ये एक अच्छा विकल्प हो सकता है.
चौथा ;पाचन में सुधार लाए
दशमूलारिष्ट हमारे पाचन में भी सुधार लाने का काम करता है. जाहिर है खराब पाचनतंत्र कई रोगों का घर है. यदि पाचन तन्त्र सही है तो आप कई अनावश्यक रोगों से बच सकते हैं. इसलिए खराब पाचन से निपटने के लिए इसका सहारा ले सकते हैं.
पांचवा ;स्टेमिना बढ़ाने में उपयोगी
दशमूलारिष्ट न केवल शारीरिक और मानसिक मजबूती प्रदान करता है बल्कि ये आपकी स्टेमिना को भी बढ़ाने का काम करता है. इससे आपके शरीर के ताकत और सहनशक्ति में प्रभावी रूप से वृद्धि होती है.
छठा ;त्वचा के लिए भी उपयोगी
हमारे शरीर के स्वास्थ्य के लिए उपयोगी होने के साथ ही दशमूलारिष्ट, हमारे शरीर की त्वचा के स्वास्थ्य और चमक के लिए भी बेहद प्रभावी और उपयोगी साबित होता है. इसके उपयोग से त्वचा में नई जान आ जाती है.
सातवां ;मासिक धर्म से राहत देने में भी मददगार है/
इस तरह से यदि देखा जाए तो दशमूलारिष्ट सिरप औरतों के लिए काफी फायदेमंद सिरप साबित होता है और कसौटी पर खरा उतरा है |
दोस्तों ये थी कुछ उपयोगी जानकारी हम सबके लिए जो मैंने आपसे शेयर की यदि मेरे द्वारा दी गई जानकारी आपको अच्छी लगे  और पसंद आये तो लाइक और शेयर करे मेरे इस ब्लॉग को सब्सक्राइब करें|  धन्यवाद


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